
दिल्ली। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने ऑपरेशन सिंदूर पर लोकसभा में चर्चा के दौरान कहा, “हमारी कार्रवाई पूरी तरह से आत्मरक्षा में थी, न तो उकसावे वाली थी और न ही विस्तारवादी। फिर भी, 10 मई, 2025 को लगभग 1:30 बजे तक, पाकिस्तान ने बड़े पैमाने पर भारत के ऊपर मिसाइलों, ड्रोन्स, रॉकेट्स और अन्य लंबी दूरी के हथियारों का उपयोग करके बड़े पैमाने पर हमला किया। उन्होंने इलेक्ट्रॉनिक वॉर फेयर से जुड़ी तकनीक का भी सहारा लिया। उनके निशाने पर हमारे भारतीय सेना के अड्डे, थल सेना के एग्रेशन डीपो, हवाई अड्डे और मिलिट्री कैंप थे। यह कहते हुए मुझे गौरव की अनुभूति हो रही है कि हमारे यहां डिफेंस सिस्टम, काउंटर ड्रोन सिस्टम और इलेक्ट्रॉनिक इक्विपमेंट ने पाकिस्तान के इस हमले को पूरी तरह से नाकाम कर दिया। पाकिस्तान हमारे किसी भी टारगेट को हिट नहीं कर पाया। हमारी सुरक्षा व्यवस्था चाक चौबंद थी और हर हमले को हमारे द्वारा रोका गया। मैं इसके लिए भारतीय सेना के बहादुर सैनिकों की जमकर सराहना करता हूं, जिन्होंने दुश्मन के मंसूबों पर पानी फेर दिया।”
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा, “ऑपरेशन सिंदूर को अंजाम देने से पहले, हमारी सेनाओं ने हर पहलू का गहराई से अध्ययन किया। हमारे पास कई विकल्प थे लेकिन हमने वह विकल्प चुना जिससे आतंकवादियों को अधिकतम नुकसान हो और जिसमें पाकिस्तान के आम नागरिकों को कोई नुकसान न हो। हमारी सेनाओं द्वारा किए गए समन्वित हमलों ने 9 आतंकवादी बुनियादी ढांचे के ठिकानों को सटीकता से निशाना बनाया। एक अनुमान के अनुसार, इस सैन्य कार्रवाई में 100 से अधिक आतंकवादी, उनके प्रशिक्षक, उनके आका मारे गए, जिनमें से अधिकांश जैश-ए-मोहम्मद, लश्कर-ए-तैयबा और हिजबुल मुजाहिदीन जैसे आतंकवादी संगठनों से जुड़े थे।”
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा, “22 अप्रेल 2025 को जम्मू-कश्मीर के पहलगाम क्षेत्र में एक अमानवीय और कायराना आतंकी हमला हुआ। इस हमले में हमारे 25 निर्दोष नागरिकों सहित एक नेपाली नागरिक की जान गई थी। उन निर्दोष लोगों की जान उनका धर्म पूछकर लिया गया। यह अपने आप में अमानवीयता का सबसे घृणित उदाहरण था। ये घटना भारत की सहन शक्ति की सीमा थी। इस हमले के तुरंत बाद हमारे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने तीनों सेनाओं के प्रमुखों के साथ उच्चस्तरीय बैठक की और उन्हें छूठ दी गई कि वे अपने विवेक, रणनीतिक समझ और क्षेत्रीय स्थिति को देखते हुए निर्णायक कार्रवाई करें।”
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने ऑपरेशन सिंदूर पर चर्चा की शुरुआत करते हुए कहा, “मैं देश के उन वीर सपूतों, बहादुर सैनिकों को नमन करता हूं जो राष्ट्र की सीमाओं की रक्षा के लिए बलिदान देने से कभी पीछे नहीं हटे… मैं उन सैनिकों की स्मृति को भी नमन करता हूं जिन्होंने भारत की एकता, अखंडता के लिए अपना सर्वस्व न्योछावर कर दिया। मैं पूरे देश की तरफ से सभी जवानों के प्रति कृतज्ञता व्यक्त करता हूं।”
वहीं कांग्रेस सांसद गौरव गोगोई ने कहा कि सरकार दहशतगर्दों को पकड़ नहीं पाई। ऑपरेशन सिंदूर पर कोई देश साथ नहीं। ट्रंप 26 बार सीजफायर की बात कह चुके। गोगोई ने कहा कि पाकिस्तान को फंड दिया जा रहा है। पाकिस्तान को किसी देश ने कुछ कहा नहीं, किसके कहने पर सरकार पीछे हटी।